आजमगढ़: महबूबा को फंसाने की चाहत में खुद ही रची अपहरण की साजिश

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पुलिसिया जांच के बाद हत्थे चढ़ा मजनू और उसका साथी
आजमगढ़। महारागंज थाना पुलिस ने आज तथाकथित अपहरण मामले का पर्दाफाश करते हुए दो अभियुक्तों को गिरफ्तार करने का दावा किया है। पुलिसिया जांच में यह तथ्य खुलकर सामने आया कि अपनी महबूबा को फंसाने के लिए युवक द्वारा खुद के अपहरण की झूठी सूचना अपने परिजनों को देकर लड़की को आरोपित बनाया गया था। इसमें उसके एक दोस्त ने उसका साथ दिया था। थाानाध्यक्ष महराजगंज कमल कान्त वर्मा ने अपने हमराहियों के साथ अभियुक्त संदीप कुमार पुत्र उमाशंकर राम निवासी सिकन्दपुर आइमा थाना महराजगंज जनपद आजमगढ़, बलराम सिंह पुत्र स्व0 रामप्रसाद सिंह सा0 छितही बाजार थाना रुद्रपुर जनपद देवरिया को बवाली मोड़ पास से समय करीब 8.30 बजे गिरफ्तार कर लिया।

जानकारी के अनुसार 29 अगस्त को बिलरियागज थाना क्षेत्र की एक महिला ने थाने में तहरीर देकर बताया कि उसका लड़का संदीप उम्र 24 वर्ष 20 अगस्त को 10 बजे दिन में घर से सरदहा बाजार गया था जिसका अपहरण कर लिया गया है और उसकी हत्या की जा सकती है। पुलिस ने मामले में मुकदमा दर्ज कार्रवाई शुरू कर दी। पुलिसिया जांच में अपहरण की कहानी झूठी निकली। विवेचना के दौरान यह तथ्य प्रकाश में आया कि उक्त संदीप उस लड़की से प्यार करता था। जब उस लड़की का शादी हो गयी तो उस पर शादी के दबाव बनाने लगा। लड़की द्वारा मना करने पर संदीप ने उसे फंसाने की धमकी दिया। पूछताछ में अभियुक्त संदीप ने बताया कि 20 अगस्त को वह बिना किसी को बताये मुम्बई चला गया। मुम्बई से पुणे पहंुचा जहां उसकी मुलाकात बलराम सिंह पुत्र स्व0 रामप्रसाद सिंह निवासी छितही बाजार थाना रूद्रपुर देवरिया से हुई। जिससे उसकी दोस्ती हो गयी। बलराम द्वारा उसे एक नई सिम उपलब्ध कराया गया। संदीप ने बताया कि उसने अपने भाई के मोबाइल पर डराने, धमकाने वाले मैसेज भेजे तथा अपने दोस्त बलराम की मदद से अपने हाथ का एक ऐसा पिक्चर बनाया जिसका हाथ खून से सना हुआ था घर वालों को डराने के लिए अपने भाई अनिकेत को फोन पर भेजा था फोटों को देखकर मेरे घर वाले काफी डर गये और 29 अगस्त उसकी मां ने थाने में जाकर लड़की के खिलाफ मुकदमा पंजीकृत कराया था।

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