मुख्तार अंसारी एंबुलेंस केस की जांच के लिए योगी सरकार ने SIT टीम का किया गठन

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छानबीन और बरामदगी के लिए पंजाब रवाना
लखनऊ। मुख्तार अंसारी को जेल से मोहाली कोर्ट तक ले जाने वाली यूपी के नंबर की एम्बुलेंस के मामले की जांच के लिए योगी सरकार ने एसआईटी का गठन किया है। एक टीम एंबुलेंस की छानबीन और बरामदगी के लिए पंजाब रवाना हो गई है जबकि दूसरी टीम डॉ. अलका राय से पूछताछ के लिए मऊ रवाना कर दी गई है। यदि जवाब से संतुष्ट न हुई पुलिस तो वह डॉ. अलका राय को गिरफ्तार कर सकती है।
डॉ. अलका राय के पते पर दर्ज है एम्बुलेंस
इस मामले में बारांबकी एआरटीओ ने कोतवाली में एफआईआर दर्ज करा दी गई है। इस एफआईआर में डॉ. अलका राय को नामजद किया गया है। आरोप है कि इस एम्बुलेंस का रजिस्ट्रेशन फर्जी वोटर आईडी लगाकर कराया गया है। यह एम्बुलेंस (यूपी 41 एटी 7171) श्याम संस हास्पिटल व डॉ. अलका राय के नाम रजिस्टर्ड है। इसमें पता बाराबंकी, रफीनगर लिखाया गया है। गुरुवार को यह बात भी सामने आयी थी कि इस एम्बुलेंस की फिटनेस 2017 में खत्म हो चुकी है। इस सम्बन्ध में पिछले साल नोटिस भी भेजी गई थी लेकिन न तो इसका जवाब मिला और न ही नवीनीकरण कराया गया।
श्याम संजीवनी हास्टिल की संचालिका डॉ. अलका राय द्वारा एक दिन पूर्व शहर कोतवाली में मऊ विधान सभा के बाहुबली विधायक मुख्तार अंसारी के खिलाफ दी गई तहरीर शनिवार को पुलिस अधीक्षक सुशील घुले ने बाराबंकी पुलिस को स्थानान्तरित कर दिया। पुलिस अधीक्षक ने कहा कि चूंकि एम्बुलेंस मामले में पहले से ही बाराबंकी में एफआईआर दर्ज किया जा चुका है, इसलिए डॉ. अलका राय द्वारा दी गई तहरीर भी बाराबंकी के लिए ही स्थानान्तरित कर दिया गया है। अब बाराबंकी पुलिस विवेचना व जांच-पड़ताल के बाद आगे की कार्रवाई करेगी। वहीं बाराबंकी पुलिस द्वारा डॉ. अलका राय के खिलाफ धोखाधड़ी का मुकदमा दर्ज किए जाने के बाद मऊ पुलिस भी पल-पल की गतिविधियों पर अपनी पैनी नजर रखे हुए हैं।

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