ब्रेकिंग न्यूजः बार काउसिंल आफ उप्र का पूरे प्रदेेश तीन दिवसीय हड़ताल का आहवान

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मुख्य सचिव उप्र और पुलिस महानिदेशक का फूकेंगे पुतला
मुख्यमंत्री से 48 घंटे के अंदर मिलने का मांगा समय
लखनऊ। उ0प्र0 बार काउसिंल के अध्यक्ष शिव किशोर गौड़ ने प्रदेश के समस्त बार एसोसिएशन अध्यक्ष/मंत्री को पत्र के माध्यम से अवगत कराया कि हापुड़ जिले में निहत्थे अधिवक्ताओं पर पुलिस द्वारा बर्बरतापूर्वक लाठी चार्ज करने तथा शासन व प्रशासन द्वारा द्वारा उस पर कोई प्रभावी कार्यवाही न किये जाने के परिप्रेक्ष्य में आज 03 सितम्बर को अपराह्न 03 बजे बार काउंसिल ऑफ उत्तर प्रदेश द्वारा वर्चुअल आपात बैठक आहूत की गयी। बैठक में सर्वसम्मति से निश्चय किया गया कि बार काउंसिल ऑफ उत्तर प्रदेश द्वारा दी गयी हड़ताल का आवाहन जारी रहेगा। इस सम्बन्ध में यह भी निश्चय किया गया कि सदस्य सचिव मुख्यमंत्री महोदय को एक पत्र भेंजे कि वह बार काउंसिल के सदस्यों से मुलाकात हेतु 48 घंटे के अन्दर समय दें, ताकि अधिवक्ताओं की समस्याओं से अवगत हो सकें। साथ ही यह भी निश्चय किया गया कि हम अपना आन्दोलन चरणबद्ध तरीके से शान्तिपूर्ण ढंग से जारी रखेंगे, जिसके लिये निम्नलिखित दिशा-निर्देश दिये जाते हैं- 4 सितम्बर को प्रातः 11.30 बजे सभी जिला, तहसील व मुंसिफ के अध्यक्ष/मंत्री व अधिवक्ता जिलाधिकारी, उपजिलाधिकारी को शान्तिपूर्ण ढंग से मांगों से सम्बन्धित ज्ञापन देंगे और कचहरी प्रांगण में ज्ञापन देने के पश्चात् शान्तिपूर्ण ढंग से धरने पर बैठे रहेंगे। 5 सितम्बर को सभी अधिवक्ता शान्तिपूर्ण ढंग से मुख्य सचिव उत्तर प्रदेश व पुलिस महानिदेशक का पुतला कचहरी परिसर के अन्दर फूकेंगे। इस बात का विशेष ध्यान रखा जायेगा कि यह सारे कार्य शान्तिपूर्ण ढंग से हो, कोई भी अधिवक्ता नियम विरूद्ध कोई कार्य नहीं करेगा। सदस्य सचिव, बार काउंसिल ऑफ उत्तर प्रदेश द्वारा भेजे गये पत्र का जैसे ही जवाब आता है, उसके बाद आगे क्या रणनीति तय की जायेगी, इस पर पुनः विचार 6 सितम्बर की वर्चुअल आपात बैठक जो अपराह्न 03.00 बजे आहूत होगी, में किया जायेगा तथा 6 सितम्बर को भी हमारी हड़ताल जारी रहेगी।इस दौरान मांगों में जिलाधिकारी व पुलिस अधीक्षक हापुड़ का अविलम्ब स्थानान्तरण, दोषी पुलिस कर्मियों जिन्होंने बर्बरतापूर्वक लाठी चार्ज किया है तथा महिला अधिवक्ताओं को भी पीटने का कार्य किया है, पर मुकदमा दर्ज हो। प्रदेश भर में अधिवक्ताओं के विरूद्ध पुलिस ने मनगढ़न्त झूठी कहानी बनाकर जो मुकदमें दर्ज किये हैं, उन्हें वापस (स्पंज) किया जाये। एडवोकेट्स प्रोटेक्शन एक्ट पारित कर तुरन्त प्रदेश में लागू किया जाये। हापुड़ के घायल अधिवक्ताओं को तुरन्त मुआवजा दिया जाये शामिल हैं। अध्यक्ष शिव किशोर गौड़ ने बताया कि यह भी निश्चय किया गया है कि प्रदेश के सभी अधिवक्ता अनुशासन में रहते हुए शान्तिपूर्ण ढंग से कार्य करेंगे और कलमबंद हड़ताल रहेगी। इस बात का विशेष ध्यान रखा जाये कि अधिवक्ताओं का हथियार उनकी कलम है न कि लाठी-डंडा।

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