जिलाधिकारी के अध्यक्षता में कानून व्यवस्था एवं अभियोजन शाखा की मासिक समीक्षा बैठक संपन्न

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गौ तस्करों पर रखें कड़ी नजर,दोषियों के खिलाफ करें कड़ी कार्रवाईरू-जिलाधिकारी
न्यायालय में मजबूत तथ्यों के साथ पैरवी कर अपराधियों को सजा दिलाने हेतु विशेष प्रयास करने के दिए निर्देश
रिपोर्ट-संजीव राय
मऊ। आज जिलाधिकारी अरुण कुमार की अध्यक्षता में कैंप कार्यालय सभागार में कानून व्यवस्था एवं अभियोजन शाखा की मासिक समीक्षा बैठक संपन्न हुई। अभियोजन शाखा की समीक्षा के दौरान दौरान संयुक्त निदेशक अभियोजन ने बताया कि अधीनस्थ न्यायालय में आईपीसी की विभिन्न धाराओं में गत माह कुल 49 मामले निस्तारित हुए, जिनमें 22 में सजा एवं तीन में रिहाई हुई।इसके अलावा सत्र न्यायालय में आईपीसी की धाराओं के तहत कुल 20 मामले निस्तारित किए गए, जिनमें 6 मामलों में सजा एवं 14 में रिहाई हुई। एससी/एसटी एक्ट के तहत कुल 17 मामले निस्तारित हुए जिनमें पांच में सजा एवं 12 में रिहाई, गैंगस्टर एक्ट में कुल पांच मामले निस्तारित हुए एक में सजा दो में रिहाई एवं एक मामले में सुलह हुई। इसके अलावा पॉक्सो अधिनियम के तहत कुल 11 मामले निस्तारित हुए जिनमें दो में सजा एवं 9 में रिहाई के आदेश पारित हुए। अधीनस्थ एवं सत्र न्यायालय में सजा के सापेक्ष अधिक मामलों में रिहाई के दृष्टिगत जिलाधिकारी ने समस्त अभियोजन पक्ष को मजबूत तथ्यों के साथ न्यायालय में पैरवी कर अधिक से अधिक अपराधियों को गुण दोष के आधार पर सजा दिलाने हेतु विशेष प्रयास करने के निर्देश दिए। इसके अलावा गैंगस्टर एक्ट में एक मामले में सुलह के दृष्टिगत जिलाधिकारी ने अभियोजन पक्ष गैंगस्टर को सुलह वाले मामले की फाइल प्रस्तुत करने के निर्देश दिए। दो मामलों में रिहाई पर अपील प्रस्तावित करने के निर्देश भी जिलाधिकारी द्वारा दिए गए। उन्होंने संयुक्त निदेशक अभियोजन से माननीय उच्च न्यायालय में दायर अपीलों की अद्यतन स्थिति की जानकारी लेते हुए अपीलों की नियमित मॉनीटरिंग कर आवश्यक कार्रवाई करने के निर्देश दिए।अधीनस्थ न्यायालय में गुण दोष के आधार पर कम मामलों में सजा होने पर उन्होंने गुण दोष के आधार पर सजा दिलाने हेतु विशेष प्रयास करने को कहा। एससी/एसटी एक्ट एवं पॉक्सो एक्ट में पक्ष द्रोहिता के आधार पर अधिकतम मामलों में रिहाई पर नाराजगी व्यक्त करते हुए जिलाधिकारी ने इस संबंध में आवश्यक कदम उठाते हुए अपराधियों को अधिक से अधिक सजा दिलाने हेतु अतिरिक्त प्रयास करने को कहा। आर्म्स एक्ट में लाइसेंस निरस्तीकरण एवं निलंबन तथा गत माह में गुंडा एक्ट के तहत की गई कार्रवाइयों के सही आंकड़े प्रस्तुत न करने पर कड़ी नाराजगी व्यक्त करते हुए जिलाधिकारी ने संयुक्त निदेशक अभियोजन को तीन दिनों के अंदर वित्तीय वर्ष एवं गत माह में की गई कार्यवाहियों के बारे में रिपोर्ट प्रस्तुत करने के निर्देश दिए। कानून व्यवस्था की समीक्षा के दौरान अवैध एवं जहरीली शराब, मादक पदार्थ एवं ड्रग्स के खिलाफ की गई कार्रवाइयों तथा महिला उत्पीड़न में की गई कार्यवाहियों की जानकारी लेते हुए जिलाधिकारी ने इस संबंध में आवश्यक कार्रवाई करने के निर्देश दिए। गैंगस्टर एक्ट के तहत की गई कार्यवाहियों की समीक्षा के दौरान जिलाधिकारी ने थाना वार गैंगस्टर चार्ट के सापेक्ष कम संपत्तियों पर समस्त थाना अध्यक्षों को अपराधियों की संपत्तियों का पता लगाने को कहा जिससे उनकी चल अचल संपत्तियों के खिलाफ कुर्क की कार्रवाई की जा सके। गौ तस्करी की समीक्षा के दौरान जिलाधिकारी ने समस्त थाना अध्यक्षों एवं क्षेत्राधिकारियों को इस पर कड़ी नजर रखने के निर्देश दिए।उन्होंने उनके कार्य क्षेत्र में स्थित गौशालाओं का नियमित निरीक्षण करने के निर्देश दिए। गुंडा एक्ट के तहत की गई कार्रवाइयों की समीक्षा के दौरान जिलाधिकारी ने जिला बदर किए गए लोगों पर कड़ी नजर रखने तथा गुंडा एक्ट के तहत सजा प्राप्त अपराधियों द्वारा पुनः अपराधिक कृत्य किए जाने पर संबंधित धाराओं में एफआईआर दर्ज करने तथा गुंडा एक्ट में नोटिस जारी करने हेतु पूर्व के अपराधों का भी उल्लेख करने के निर्देश दिए। धार्मिक स्थलों से हटाए गए अवैध लाउडस्पीकरों की जानकारी लेते हुए जिलाधिकारी ने इस संबंध में शासनादेश के अनुसार कार्रवाई करने को कहा। इसके अलावा अन्य मौको पर तेज आवाज में डीजे संचालन के खिलाफ भी कड़ी कार्रवाई करने के निर्देश जिलाधिकारी द्वारा दिए गए।उत्तर प्रदेश राजस्व संहिता की धारा 24 एवं 67 में पारित आदेशों के मौके पर अनुपालन की स्थिति की समीक्षा के दौरान जिलाधिकारी ने समस्त उप जिला अधिकारियों को इसमें तेजी लाने के निर्देश दिए। उन्होंने थाना समाधान दिवस पर प्राप्त शिकायतों का राजस्व एवं पुलिस विभाग की संयुक्त टीम द्वारा उसी दिन निस्तारण करने को कहा,जिससे शिकायतकर्ता को बार-बार न भटकना पड़े। धारा 107, 116 एवं 151 में की गई कार्रवाई की समीक्षा के दौरान जिलाधिकारी ने पूरी जांच के उपरांत ही इन धाराओं के तहत कार्रवाई करने के निर्देश दिए। धारा 133 एवं 145 में कम मामलों के निस्तारण के दृष्टिगत उन्होंने समस्त उप जिला अधिकारियों को इसमें तेजी लाने के निर्देश दिए। आई एस 191 गैंग लीडर मुख्तार अंसारी व उसके सहयोगी सदस्यों से जुड़े मुकदमों की अद्यतन जानकारी लेते हुए जिलाधिकारी ने न्यायालय में मजबूत ढंग से पैरवी कर अपराधियों को सजा दिलाने के प्रयास करने के निर्देश दिए। बैठक के दौरान पुलिस अधीक्षक श्री अविनाश पांडे, अपर जिलाधिकारी सत्यप्रिय सिंह, अपर पुलिस अधीक्षक महेश कुमार अत्री, उप जिलाधिकारी मधुबन एवं घोसी,समस्त क्षेत्राधिकारी,समस्त थानाध्यक्ष एवम् समस्त अभियोजन पक्ष सहित अन्य संबंधित अधिकारी उपस्थित रहे।
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