विश्वविद्यालय असिस्टेंट प्रोफेसर पर छात्रा का सनसनीखेज आरोप
गोरखपुर। दीनदयाल उपाध्याय गोरखपुर विश्वविद्यालय के एक असिस्टेंट प्रोफेसर पर स्नातक की छात्रा से फेवर मांगने का सनसनीखेज आरोप लगा है। मामला बीते 21 दिसंबर का बताया जा रहा है। छात्रा का दावा है कि उसके पास शिक्षक के फोन कॉल की 29 मिनट की रिकॉर्डिंग है। उसने इसकी शिकायत डीडीयू प्रशासन के साथ ही कुलाधिपति आनंदीबेन पटेल, महिला आयोग और प्रमुख सचिव उच्च शिक्षा से भी की है। मामले की गंभीरता को देखते हुए डीडीयू प्रशासन ने इसकी जांच के आदेश दिए हैं। डीडीयू की छात्रा ने शिकायती पत्र में यौन और मानसिक उत्पीड़न का आरोप लगाया है। शिकायत पत्र के मुताबिक, वह परीक्षा से पहले अपनी प्रायोगिक परीक्षा के लिए फाइल चेक कराने विभाग में गई थी। उसी दौरान शिक्षक ने कहा, मैं तुम्हारी परीक्षा में इतनी मदद कर सकता हूं कि तुम विभाग टॉप कर सकती हो। जिन छात्राओं ने मुझे खुश रखा है, उनका रिजल्ट पता करके मुझसे मिलो। मैंने पहले भी तुमसे कई बार ये बातें कही हैं लेकिन तुमने इन पर ध्यान नहीं दिया। ऐसा करके तुम मेरी दुश्मनी मोल ले रही हो। शिक्षक के मुंह से ऐसी बातें सुनकर छात्रा वहां से वापस लौट गई। उसके बाद 21 दिसंबर की रात उस शिक्षक ने शराब के नशे में कई बार फोन किया। फोन न उठाने पर दूसरे नंबर से फोन किया। अंजान नंबर से फोन उठाने पर शिक्षक ने कहा कि तुमसे कुछ कहे थे। मैं तुमको बहुत मानता हूं। तुम भी मेरे बारे में कुछ सोचो। मैं तुमको कहां से कहां पहुंचा सकता हूं। तुम अभी समझ नहीं पा रही हो। उसके बाद वह अश्लील बातें करने लगे। उससे पहले भी वह कई बार परेशान कर चुके थे। इसलिए हिम्मत करके उनसे बात कर रिकॉर्ड कर लिया। शिक्षक ने उसकी सहेली का नाम लेकर भी अश्लील बातें की। कुल 29 मिनट तक रिकॉर्डिंग करने के बाद छात्रा ने फोन काट दिया।
छात्रा ने अपनी शिकायत में दावा किया है कि शिक्षक ने कई लड़कियों का शोषण किया है। यह फोन काल के दौरान शिक्षक ने स्वीकार किया है। उसकी रिकार्डिंग भी छात्रा के पास है। छात्रा के मुताबिक इस घटना से वह मानसिक अवसाद में है। लेकिन शिक्षक का दुस्साहस बढ़ता जा रहा था। इसे देखते हुए उसने शिकायत की है। आरोप है कि अगले दिन जब छात्रा विभाग में पहुंची तो उसे यह कहकर अपने चौम्बर में बुलाया कि तुम कभी पास नहीं हो पाओगी। तुम्हारा रिजल्ट और जीवन दोनों बर्बाद कर दूंगा। डर के कारण छात्रा और उसकी सहेली चेंबर में गए तो वे गलत तरीके से छूते हुए अील बातें करने लगे। छात्राओं के विरोध करने पर वे धमकाने लगे। छात्रा ने शिकायत पत्र में कहा है कि जांच में वह समिति के सामने उपस्थित होकर सभी साक्ष्य प्रस्तुत करेगी। उसने गोपनीयता बरतते हुए जांच कराए जाने और उचित कार्रवाई की मांग की है। छात्रा ने आत्महत्या की चेतावनी भी दी है। पिछले वर्ष जुलाई में एक विभागाध्यक्ष पर भी गंभीर आरोप लगे थे। आरोप था कि उन्होंने अपनी पूर्व छात्रा को विभाग में अपने निजी सहायक के रूप में नियुक्त कर रखा था। इसकी शिकायत ऑडियो रिकॉर्डिंग और फोटो के साथ की गई थी। उस मामले में कोई कार्रवाई नहीं हो सकी। कुलपति प्रो. पूनम टंडन ने कहा कि जो भी शिकायतें आती हैं, उन्हें जांच के लिए आईसीसी को भेजा जाता है। एक शिकायत मिली है। जांच के बाद इस पर नियमानुसार कार्रवाई होगी।