आजमगढ़: थानाध्यक्ष की सूझ-बूझ से बची पांच जिन्दगियां

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जलने से बचा वैश्यपुर गांव, पूरा क्षेत्र पीएसी के हवाले
रिपोर्ट-वेद प्रकाश सिंह ‘लल्ला’
आजमगढ़। अतरौलिया थाना क्षेत्र के वैश्यपुर गांव में आपसी विवाद के बाद उपजे आक्रोश की आग थानाध्यक्ष की सूझ-बूझ से थम गयी। इतना ही नहीं थानाध्यक्ष ने बहादुरी दिखाते हुए पांच लोगों की जिन्दगी भी बचा ली। तनाव को देखते हुए गांव में पीएसी तैनात कर दी गयी है।
बताते चलें कि बुधवार को थानाध्यक्ष अतरौलिया सुवेन्द्र राय को सूचना मिली कि वैश्यपुर गांव में पुराने विवाद को लेकर दो पक्षों में मारपीट हो गयी है। बिना समय गवाये थानाध्यक्ष अपने हमराहियों के साथ मौके पर पहुंच गये। मौके पर पहंुचने पर थानाध्यक्ष ने देखा कि एक पक्ष द्वारा दूसरे पक्ष के घर का चारों तरफ से घेर कर पत्थरबाजी और तोड़फोड़ की जा रही है। घर के अंदर पांच लोग बंद हैं। थानाध्यक्ष अतरौलिया द्वारा उन्हें रोकने का प्रयास किया गया तो आक्रोशित लोगों ने पुलिस पार्टी पर हमला बोल दिया। इस हमले में थानाध्यक्ष सहित कई पुलिसकर्मी घायल हो गये। आक्रोशित भीड़ ने थाने की दो गाड़ियों सहित कुल पांच गाड़ियों को क्षतिग्रस्त कर दिया। वे सभी घर में छिपे लोगों को ढूढ़ने लगे। थानाध्यक्ष द्वारा भीड़ को घर में घुसने से रोक दिया गया। पुलिस द्वारा आधा घंटे की मशक्कत के बाद रात करीब 12.30 बजे पुलिस अधिकारियों की मौजूदगी में घर के अंदर बंद पांच लोगों को सुरक्षित बाहर निकाल लिया गया। घर में बंद लोगों में अभि 2 वर्ष, अभिनव 6 वर्ष, काजल 12 वर्ष और इनके पिता अरूण सिंह और माता रिंकू सिंह को पुलिस ने अपनी सुरक्षा में ले लिया। मौके की नजाकत और तनाव की स्थिति को देखते हुए गांव में पीएसी तैनात कर दी गयी है।

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